कहते हैं लोगों के दिल का रास्ता पेट से होकर गुजरता है और हमारा पेट ही यानी कि हमारा गट इंटेस्टाइन ही हमारा सेकंड ब्रेन है । यानी जब हमारे पेट में कुछ भी गड़बड़ होती है तो हमारा दिल और दिमाग दोनों ही अस्वस्थ हो जाते हैं हम अपने आप को काफी कमजोर और अस्वस्थ महसूस करने लगते हैं। आखिर क्यों जरूरी है गट हेल्थ पर कंसंट्रेट करना फोकस करना और ऐसी कौन सी पोषक तत्व है जो हमारे गट हेल्थ के लिए बहुत ही ज्यादा जरूरी है। तो चलिए आज जानें कौन-कौन से ऐसे न्यूट्रिएंट्स है जो गट हेल्थ को इंप्रूव करने में मदद करते हैं।
गट हेल्थ बिगड़ने पर कब्ज, पेट में जलन, अपच जैसी परेशानियां पेश आ सकती हैं. लेकिन यदि हम कुछ खास मिनरल्स को अपने रेग्युलर डाइट में शामिल करेंगे तो आंतों की सेहत को फायदे मिल सकते हैं.
गट हेल्थ के लिए फ्रेंडी मिनरल्स
1. कैल्शियम
कैल्शियम को आमतौर पर हड्डियों की मजबूती के लिए जाना जाता है, लेकिन काफी कम लोग इस बात से वाकिफ हैं कि ये आंतों के लिए भी जरूरी है. इसके सेवन से एचसीएल एसिड सिक्रीशन बढ़ जाता है, इंटेस्टिनल पर्मिएबिलिटी बेहतर होती है और डायरिया जैसी खतरनाक बीमारी से बचाव हो जाता है.
2. मैग्नीशियम
आंतों की सेहत के लिए मैग्नीशियम रिच डाइट को जरूर अहिमियत देनी चाहिए. ऐसा इसलिए हैं क्योंकि ये एचसीएल एसिड पर कैल्शियम के स्टिमुलेटरी इफेक्ट को बैलेंस करने में मदद करता है, रेगुलर बाउल मूवमेंट को सपोर्ट करता है, गॉल ब्लाडर को खाली करने की प्रकिया को बेहतर बनाता है और कब्ज को दूर कर सकता है.
3. सेलेनियम
सेलेनियम भी हमारी आंत के लिए जरूरी है, क्योंकि ये पैंक्रियाज की सेहत को बेहतर बनाता, एंटी-इंफ्लेमेंट्री सेलेनोप्रोटीन का निर्माण करता है, आंत और पैंक्रियाज में एंटी-ऑक्सिडेंट इफेक्ट को बढ़ावा देता है और साथ ही माइक्रोबायोम बैलेंस को प्रमोट करता है.
4. जिंक
जिंक बेस्ड फूड्स खाने से पैंक्रियाटिव डाइजेस्टि एंजाइम्स प्रोड्यूज होते हैं, गल लाइनिंग के टाइट जंक्शन को सपोर्ट मिलता है, आंत में इम्यून सेल्स का रेगुलेशन होता है, इंफ्लेमेशन और ऑक्सिडेटिव डैमेज घटता है, आयर और कॉपर टॉक्सिसिटी से बचाव होता है, माइक्रोबायोम डाइवर्सिटी बढ़ती है और डायरिया का खतरा कम होता है.
5. इलेक्ट्रोलाइट्स
सोडियम, पोटैशियम और क्लोराइट प्रोपर हाइड्रेशन को सपोर्ट करता है, बाउल मोटिलिटी को बेहतर बनाता है, फ्लूइड बैलेंस को बेहतर बनाता है.
आयरन की अधिकता नुकसानदायक
वैसे तो आयरन एक जरूरी मिनरल है लेकिन अगर इसकी मात्रा आंतों में बहुत अधिक बढ़ जाए तो इससे सूजन बढ़ सकती है और साथ ही वॉनटेड और अनवॉनटेड माइक्रोब्स को खुराक भी मिल सकती है.
अमृता, नेशन्स न्यूट्रिशन (क्वालीफाईड डायटीशियन / एडुकेटर अहमदाबाद)