स्वाद और सेहत के हिसाब से दालें महत्वपूर्ण हैं। इन्हीं दालों में से एक है मूंग की दाल। मूंग दाल दो प्रकार की होती हैं, पहली हरी (छिलका सहित) और दूसरी पीली मूंग दाल। इसके अलावा, साबुत मूंग दाल का उपयोग भी किया जाता है। भारत में मूंग दाल मुख्य भोजन का हिस्सा होने के साथ-साथ हमें स्वस्थ रखने में भी अहम भूमिका निभाती है। मूंग दाल फाइबर और प्रोटीन का एक अच्छा स्रोत है, इसके सेवन से हंगर हार्मोन प्रभावित होता है, जो भूख को नियंत्रित करता है। मूंग दाल का सेवन विशेष रूप से सूप और स्प्राउट के रूप में किया जा सकता है। मूंग दाल को स्प्राउट्स के तौर पर लेने से उसकी पौष्टिकता बढ़ जाती है। यह फाइबर से तो भरपूर होते ही हैं, साथ ही यह कंप्लीट प्रोटीन हैं।
1. एंटीऑक्सीडेंट गुणों से भरपूर
यह तो हम ऊपर बता ही चुके हैं कि मूंग दाल में एंटीऑक्सीडेंट गुण पाए जाते हैं। इसके अलावा, मूंग की दाल में कुछ फ्लेवोनॉयड्स पाए जाते हैं, जो एंटीऑक्सीडेंट गुणों से भरपूर होते हैं। ये गुण ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस को दूर करने में मदद कर सकते हैं। ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस के कारण , डायबिटीज, हृदय रोग जैसी समस्याएं हो सकती हैं।
2. हीट स्ट्रोक को दूर करने में मददगार
अधिक गर्मी, डिहाइड्रेशन के कारण हीटस्ट्रोक की समस्या हो सकती है। यह समस्या आमतौर पर गर्मियों के मौसम में होती है। अधिक गर्मी के कारण और द्रव्य पदार्थों के कम सेवन से शरीर में पानी की कमी हो जाती है और इससे हीटस्ट्रोक का खतरा हो सकता है। मूंग दाल में विटेक्सिनऔर आइसोविटेक्स नामक घटक पाए जाते हैं, जिनमें एंटीऑक्सीडेंट प्रभाव मौजूद होता है। इस गुण के कारण हीटस्ट्रोक के खतरे को दूर करने में मदद मिल सकती है। इसलिए, गर्मी के मौसम में मूंग दाल का सूप पीना फायदेमंद हो सकता है।
3. कोलेस्ट्रॉल को कम करने में फायदेमंद
मूंग की दाल में हाइपोकोलेस्ट्रोलेमिया यानी कोलेस्ट्रॉल को कम करने का प्रभाव पाया जाता है। इस प्रभाव के कारण मूंग की दाल रक्त में माैजूद कुल कोलेस्ट्रॉल और एलडीएल (खराब) कोलेस्ट्रॉल के स्तर को कम कर सकती हैं। इस आधार पर यह कोलेस्ट्रॉल को बढ़ने से रोकने के साथ ही इसके स्तर काे कम करने में फायदेमंद हो सकते हैं।
4. रक्तचाप को नियंत्रित करे
मूंग दाल रक्तचाप को भी नियंत्रित करने में मदद कर सकती है। मूंग दाल में पाया जाने वाला यह गुण रक्तचाप को नियंत्रित करने के साथ-साथ उसे बढ़ने से रोकने और उससे होने वाली स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं को दूर करने में मदद कर सकता है।
5. गर्भावस्था में फायदेमंद
गर्भावस्था के दौरान महिलाओं को भरपूर मात्रा में फोलेट युक्त खाद्य पदार्थ खाने की सलाह दी जाती है। वहीं, भ्रूण के विकास के लिए भी फोलेट जरूरी है। गर्भावस्था के समय फोलेट की कमी होने से मां और शिशु दोनों को समस्या हो सकती है। वहीं, शोध में पाया गया है कि 100 ग्राम मूंगदाल में 625 माइक्रोग्राम फाेलेट की मात्रा पाई जाती है, जो गर्भावस्था के दौरान जन्म दोष को दूर करने के साथ ही पोषण में फायदेमंद हो सकती है। वहीं, अगर मूंग दाल से बने कच्चे स्प्राउड्स का सेवन किया जाता है, तो इससे पेट खराब होने की आशंका हो सकती है। इस कारण गर्भावस्था में कच्चे स्प्राउट्स की जगह स्प्राउट उबालकर खाना बेहतर हो सकता है।
6. पाचन में सुधार करने के लिए
मूंग दाल अन्य दालों की तुलना में हल्की और आसानी से पचने योग्य होती है। यह शरीर में फैटी एसिड ब्यूटेरेट के उत्पादन को बढ़ाती है, जो पाचन में मदद करता है और शरीर में गैस को बनने से रोक सकता है। इसके अलावा मूंग में फाइबर और प्रोटीन की मात्रा पाई जाती है, जो पाचन तंत्र को ठीक रखने के लिए जरूरी हैं। इसके अलावा, इसमें पाए जाने वाले अन्य घटक जैसे कि ट्रिप्सिन इन्हिबिटर्स हीमगलगुटिनिन टैनिन और फाइटिक एसिड भी पाचन तंत्र काे ठीक करने के साथ ही शरीर में मौजूद टॉक्सिक पदार्थों को बाहर निकालने में फायदेमंद हो सकते हैं। वहीं, फाइटिक एसिड एक एंटीन्यूट्रियंट की तरह भी काम कर सकता है, यानी यह शरीर में मिनरल्स के अवशोषण को रोक सकता है। साथ ही स्प्राउटिंग, सोकिंग और कूकिंग के प्रभाव को भी कम कर सकता है। वहीं, नींबू का रस फाइटिक एसिड के प्रभाव को कम करने में मदद कर सकता है, इसलिए स्प्राउट या दाल बनाते समय नींबू का रस मिला लेना चाहिए। यह टेस्ट और स्वास्थ्य दोनों को बढ़ाने में मदद कर सकता है।
7. मधुमेह काे नियंत्रित करने के लिए
मधुमेह की समस्या रक्त में मौजूद शुगर का स्तर बढ़ने के कारण हो सकती है। इस समस्या से बचने के लिए मूंग दाल का सेवन किया जा सकता है। यह गुण रक्त में मौजूद ग्लूकोज के स्तर को कम करने में फायेदमंद हो सकते हैं।
8. एंटीमाइक्रोबियल गुण से भरपूर मूंग दाल
मूंग में पाए जाने वाले पॉलीफेनोल्स में एंटीमाइक्रोबियल, एंटी बैक्टीरियल और एंटीफंगल गुण पाए जाते हैं। मूंग बीज में पाए जाने वाले ये गुण कई प्रकार के फंगस को दूर करने के साथ-साथ विभिन्न प्रकार के संक्रमण को भी दूर करने में मदद कर सकते हैं। मूंग में मौजूद उपरोक्त गुणों के कारण विभिन्न तरह के फंगस को दूर किया जा सकता है।
9. एंटीइंफ्लेमेटरी गुण
मूंग दाल के लाभ इसमें मौजूद गुणों और पोषक तत्वों के कारण ही होते हैं। उन्हीं में से एक है इसका एंटीइंफ्लेमेटरी गुण। यह गुण कई प्रकार की सूजन को दूर करने में मददगार हो सकता है। यह गुण सूजन वाले क्षेत्र में दर्द और सूजन के इलाज में मदद कर सकते हैं।
प्रियंवदा दीक्षित – फूड फॉर हील (क्वालीफाईड डायटीशियन, आगरा)